चंडीगढ़ मेयर मामले में आप और कोंग्रेस की साझा प्रेस कोंफ्रंस , भाजप को कहा देश द्रोही

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चंडीगढ़ मेयर
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चंडीगढ़ मेयर चुनावों को लेकर इंडिया ब्लॉक ने भारतीय जनता पार्टी पर तीखा हमला बोला। आम आदमी पार्टी (आप) और कांग्रेस के नेताओं ने संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस कर चंडीगढ़ मेयर चुनाव को असंवैधानिक और भाजपा की धोखाधड़ी करार दिया।आप नेता राघव चड्ढा, कांग्रेस नेता पवन बंसल, आप चंडीगढ़ के प्रभारी जरनैल सिंह, आप नेता प्रेम गर्ग और कांग्रेस के चंडीगढ़ अध्यक्ष हरमोहिंदर सिंह लकी ने एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए भाजपा के इस कृत्य को देशद्रोह करार दिया। मीडिया को संबोधित करते हुए आप के राज्यसभा सांसद राघव चड्ढा ने कहा कि चंडीगढ़ मेयर का चुनाव भाजपा द्वारा किया गया एक ‘फर्जीवाड़ा’ था।

चंडीगढ़ मेयर : चुनाव में नहीं किया गया नियमों का पालन

चड्ढा ने कहा कि इस चंडीगढ़ मेयर चुनाव में किसी भी प्रोटोकॉल या नियमों का पालन नहीं किया गया, वर्तमान चुनाव अधिकारियों या डीसी ने हमारे पार्षदों की कोई बात नहीं सुनी।उन्होंने कहा कि आम तौर पर जब कोई चुनाव प्रक्रिया के दौरान कोई आपत्ति उठाता है, तो डीसी और चुनाव अधिकारी आगे बढ़ने से पहले उन मुद्दों को हल करते हैं।लेकिन यहां उन्होंने बिना कुछ संबोधित किए इस ‘फर्जीवाड़ा’ को जारी रखा। उन्होंने अपनी धोखाधड़ी को छिपाने के लिए सभी मतपत्र भी ले लिए और उन्हें एक कमरे में बंद कर दिया।

आप नेता ने कहा कि यह तो केवल मेयर का चुनाव है। आम चुनाव में भाजपा क्या करेगी, इसकी कल्पना करना भी मुश्किल है। उन्होंने कहा कि बीजेपी भारत को उत्तर कोरिया बनाना चाहती है।वे केवल तब चुनाव चाहते हैं जब वे पूरी प्रणाली और चुनाव प्रक्रिया में धांधली करके जीत रहे हों। उन्होंने पीठासीन अधिकारी के खिलाफ कार्रवाई की मांग की और कहा कि अनिल मसीह को तुरंत गिरफ्तार किया जाना चाहिए।

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चंडीगढ़ मेयर : भाजपा ने किया देशद्रोह: चड्ढा

आप नेता राघव चड्ढा ने कहा कि भाजपा ने इस मेयर चुनाव में जो किया है वह असंवैधानिक, अवैध, राष्ट्रविरोधी और देशद्रोह है। चड्ढा ने कहा कि हर कोई जानता है कि इंडिया ब्लॉक के पास 20 वोट थे और भाजपा के पास 16 वोट थे। इसलिए भाजपा ने चुनाव जीतने के लिए लोकतंत्र के खिलाफ साजिश रची। चड्ढा ने कहा कि पहले पीठासीन अधिकारी बीमार पड़ गए और उन्होंने चुनाव को 6 फरवरी तक के लिए टाल दिया, लेकिन जब हमने उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया, तो चुनाव के लिए 30 जनवरी की नई तारीख तय की गई।

18 जनवरी को चुनाव रद्द करने के बाद भाजपा ने अपने ऑपरेशन लोटस को अंजाम देने की कोशिश की और हमारे पार्षदों को तोड़ने की कोशिश की। लेकिन जब वे इसमें सफल नहीं हुए, तो उन्होंने अनिल मसीह जो एक भाजपा नेता और उनके अल्पसंख्यक विंग के सचिव भी हैं, को नया पीठासीन अधिकारी नियुक्त किया।

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चंडीगढ़ मेयर : यह इतिहास की एक अभूतपूर्व घटना: चड्ढा

चड्ढा ने कहा कि मतगणना के समय उनकी पार्टियों के किसी भी चुनाव एजेंट को मतगणना टेबल के पास जाने की इजाजत नहीं थी।जबकि यह नियम है कि सभी चुनाव एजेंट गिनती के समय मौजूद रहते हैं और जो भी वोट अवैध घोषित होता है, उसे सबसे पहले चुनाव एजेंट को दिखाया जाता है।उपायुक्त और चुनाव एजेंट की सहमति से ही इसे अवैध घोषित किया जा सकता है। लेकिन वोटों की गिनती और उन्हें अवैध घोषित करने में किसी भी नियम का पालन नहीं किया गया।

चड्ढा ने कहा कि इंडिया गठबंधन के 20 में से 8 वोट अवैध घोषित किया जाना चंडीगढ़ मेयर चुनाव के इतिहास की एक अभूतपूर्व घटना है। जबकि भाजपा का एक भी वोट अवैध नहीं हुआ। उन्होंने आरोप लगाया कि इंडिया गठबंधन के पार्षदों के वोटों को अवैध बनाने के लिए पीठासीन अधिकारी ने खुद ही मतपत्रों से छेड़छाड़ की।

उनका धोखेबाज पीठासीन अधिकारी यह सब खुद ही कर रहा था। जबकि उसका काम चुनाव प्रक्रिया की निगरानी करना था।बंसल ने कहा कि चुनाव को कवर करने के लिए मीडिया को भी अंदर नहीं जाने दिया गया। यह चुनाव नहीं बल्कि बीजेपी का घिनौना मजाक है।अब उन्हें हराना ज्यादा जरूरी हो गया है। उन्होंने कहा कि अगर बीजेपी 2024 में फिर सत्ता में आई तो वे चुनावी प्रक्रिया को खत्म कर देंगे और लोकतंत्र की हत्या कर देंगे।

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